Sunday, September 1, 2013

तेरी माँ चोदूँगी एक दिन

हाय अंकल, अब कोई चिंता की बात नहीं है . अब मैं बड़ी हो गयी हूँ . सायानी हो गयी हूँ ? बड़ी बड़ी चूंचियाँ हो गयी है मेरी ? चूत भी टना टन्न हो गयी है ससुरी ?  घनी घनी झांटें भी निकल आयी है बुर चोदी ? अब तो मैं भी अम्मी की तरह चुदाने लगी हूँ अंकल ? अपनी माँ चुदाने लगी हूँ .रात भर चुदवाती हूँ माँ ? माँ चुदाने में बड़ा मज़ा आता है . ये सब तो एक साल पहले ही हो चुका है . मैं एक साल से तेरा इंतज़ार कर रही हूँ . तू पता नहीं कहाँ अपनी गांड मरा रहा है ? अंकल अब तो तेरी बल्ले बल्ले हो गयी है बहन चोद ? चाहे चोदो मेरी चूत,  चाहे चोदो  माँ की चूत  ? चाहे मारो मेरी गांड, चाहे मारो माँ की गांड ?  बस, अपना लण्ड संभाल के रखना ? अब तेरे लण्ड की खैर नहीं है भोषड़ी के अंकल ?
वैसे मैंने तुम्हे बहुत  इंतज़ार करवाया . पिछले कई सालों से जब तुम यहाँ आते थे तो मैं तेरा मादर चोद लण्ड जरुर पकडती थी . मुठ्ठ  मारती थी , लण्ड पीती थी पर चुदा नही पाती थी .  चुदाने के लिए तुझे किसी और के पास जाना पड़ता था , अब तो माल तैयार हो गया है तेरे लिए ? . मेरी चूत तुम्हारे लिए हाज़िर है . मेरी माँ का भोषडा तुम्हारे लिए हाज़िर है . अब तो सब कुछ आसान हो गया है . अब देर न लगाओ, अंकल . जल्दी आओ,  मुझे चोदो और मेरी माँ चोदो . तेरे लण्ड को सलाम करती हूँ अंकल ?
तेरी बुर चोदी - फरहा
ये सारी बातें मैंने अपने सईद अंकल को लिख कर ई मेल कर दिया  . वह दुबई में काम करता है . और जब कब  यहाँ आता रहता है . जब आता है तो मुझे अपना लण्ड जरुर पकडाता है . मैं उसके लण्ड से बेहद मोहब्बत करती हूँ . मैं उसका लण्ड खूब पीती हूँ . लेकिन अब तो मेरी चूत भी पियेगी उसका लण्ड ? अब तो मैं चुदाने लगी हूँ . मेरी चूत लण्ड खाने लगी है .
 यह बात आजतक मैंने अपनी अम्मी को नहीं बताई . अब जब भी अंकल आयेंगे तो सबसे पहले मैं अपनी माँ चुदवाऊँगी ? मैं जानती हूँ की वो मेरी माँ चोद कर बहुत खुश होगा ? मैंने जबसे अंकल का लण्ड पकड़ना शुरू किया है तब से वह कह रहा है की फरहा मैं एक दिन तेरी माँ चोदूंगा ? लेकिन तभी चोदूंगा जब तू चुदाने वाली हो जायेगी ? तेरे सामने चोदूंगा तेरी माँ और तेरी माँ के सामने चोदूंगा तुझे ? अब मुझे अपनी चूत चुदाने का और अपनी माँ चुदाने का इंतज़ार है . सईद अंकल आने ही वाला है .  
माँ के साथ लण्ड चाट रही हूँ 

इमेल करने के बाद मैं फ़ौरन अपने घर पहुंची . मेरी अम्मी मेरा इंतज़ार कर रही थी .
  • अम्मी मुझे देखते ही बोलीं :- क्या कर रही तू इतनी देर से ? माँ चुदा रही थी अपनी ?
  • नहीं अम्मी, माँ नहीं चुदा रही थी ? मैं अपनी गांड मराने गयी थी .
  • इतनी देर से तू गांड मरा रही थी . तब तो फट गयी होगी तेरी गांड ?
  • नहीं अम्मी , फटी नहीं क्योंकि मैं मरा ही नहीं पायी . गांड मारने वाला आया ही नहीं मादर चोद ? मैं इंतज़ार कर कर के थक गयी . फिर वापस चली आयी .
  • अच्छा  ये बता कल तू कमरे में बैठ कर किस भोषड़ी वाले का लण्ड सहला रही थी ?
  • अरे अम्मी वो तो ज़फर अंकल है . कल मैं बातों बातों में उसकी जांघों पर हाथ फ्र्रने लगी . फिर धीरे से उसका लण्ड टटोल कर देखने लगी . मुझे लगा की लण्ड में दम है   इसलिए मैं उसके कन्धों में अपना सर टिका कर उनसे प्यार की बातें करने लगी .
  • तो फिर फ़टाफ़ट जिप खोल कर पकड़ लेती लण्ड बहन चोद ?
  • वही तो करने वाली थी पर उस मादर चोद भोषड़ी वाले का मोबाईल बज उठा और वह चला गया ?
  • तो कुछ तो उसके लण्ड के साईज का आईडिया हुआ होगा तुझे ?
  • हां मुझे लगा की गिलानी अंकल के लण्ड से बड़ा है उसका लण्ड ?
  • तब तो तू उस माँ के लौड़े को अभी बुला ले,  फरहा ?  
  • मैं कोशिश करती हूँ अम्मी .
ऐसा कह कर मैं बाहर कमरे में आकर बैठ गयी . अचानक बेल बजी और मैंने दरवाजा खोला तो सामने ज़फर अंकल खड़े थे . मैंने कहा अरे वाह, अंकल आओ न  , कहाँ चले गये थे आप ? मैं तबसे इंतज़ार कर रही हूँ . वह बोला मेरा जरुरी काम आ गया था इसलिए जाना पड़ा . मैं उससे लिपट कर बोली अंकल मैं कल से तेरा लण्ड पकड़ने के लिए तड़प रही हूँ . मेरे मुंह से 'लण्ड' सुनते ही वह हरकत में आ गया . मैंने उसका लण्ड ऊपर से टटोला . मुझे लगा की लौड़ा बहन चोद तना जा रहा है.
 मैंने कहा :-अरे अंकल ये तो मादर चोद बाहर निकलने के लिए तड़प रहा है . इसे निकालो न प्लीज अंकल ?
मैं खुद ही उसकी जिप खोलने लगी . इतने में अम्मी कमरे में आ गयी . मैंने कहा अंकल ये मेरी अम्मी है . वह अम्मी को बड़ी देर तक देखता रहा . उसकी चूंचियाँ देखता रहा . अम्मी की चूंचियाँ मेरी से दुगुनी है . अम्मी का खूबसूरत चेहरा उसे पसंद आ गया .
वह बोला :- फरहा, तेरी अम्मी तो बेहद ख़ूबसूरत है ? बड़ी अच्छी लग रही है . बड़ी सेक्सी है ?
मैंने उसके कानो में कहा :- मेरी अम्मी की बुर चोदोगे अंकल ?
वह बोला:- हां मन तो हो गया है चोदने का ?
मैं बोली :- तो फिर लण्ड उसे पकड़ा दो न ? शरमाओ नहीं,  मैं बाथ रूम जा रही हूँ . तुम लौड़ा खोल कर उसे दिखा दो . पकड़ तो वह खुद ही पकड़ लेगी बुर चोदी ?
मैंने कहा :- अम्मी तुम अंकल के पास बैठो मैं बाथ रूम हॊकर आती हूँ . 
मैं बाथ रूम चली गयी . मैं जब वापस आयी तो देखा की अंकल बिलकुल नंगे हो गये है और अम्मी लण्ड पकड़ कर हिला रही है . लण्ड घुमा घुमा कर देख रही है . मैंने कहा वाओ, अम्मी,  बहन चोद तुमको लण्ड पकड़ने की बड़ी जल्दी है ? वह बोली  हां है तो पर तेरी गांड क्यों जल रही है फरहा ? आ तू भी पकड़ के देख ले लण्ड ? मैंने कहा अरे अम्मी तुझे तो लण्ड पकड़ना ही नहीं आता ? नंगी होकर लण्ड पकड़ा जाता है अम्मी ? लण्ड पकड़ने का मज़ा तभी आता  है . बस मैं अम्मी के कपडे खोलने लगी . माँ को नंगी देख कर अंकल का लौड़ा और फनफना उठा . मैंने कहा देखा अम्मी लौड़ा कैसे तेरा भोषडा देख कर सर उठा कर खड़ा हो गया ?  वह बोली ओये होए तो  दिखा दे न तू अपनी बुर, बहन चोद ? तब तो लौड़ा कुतुबमीनार हो जायेगा साला . मैंने भी अपने कपडे उतार दिया और अम्मी के साथ बैठ कर लण्ड चाटने लगी .
ज़फर अंकल का लण्ड था बड़ा जोर दार ? उसका सुपाड़ा बड़ा गज़ब का तथा . लड़कियां इसी सुपाड़े पर जान देती है . अम्मी ने पूरा सुपाडा अपने मुंह में भर लिया और चाटा फिर अपने मुंह से निकाल कर मेरे मुंह में घुसा दिया . मैंने भी उसे खूब चूसा . अम्मी बार बार यही करने लगी . मैं फिर पेल्हड़ चाटने लगी अम्मी लण्ड ? अम्मी पेल्हड़ चाटती तो मैं लण्ड ? बड़ा मज़ा आने लगा हम दोनों को . इतने में मैंने अम्मी की टाँगे फैला दी और लण्ड पकड़ के उसके भोषडा पर रख दिया . अंकल ने एक धक्का दिया लौड़ा गपाक से अन्दर घुस गया . अंकल भकाभक चोदने लगे और मैं उसके पेल्हड़ सहला सहला कर देखने लगी . मैं अपनी चूत अम्मी के मुंह की तरफ कर ली और अपना मुंह उसकी गांड की तरफ . मैं इधर अंकल का लण्ड बीच बीच में भोषडा से निकाल कर चूसने लगती और उधर अम्मी मेरी चूत चाटने लगती . बड़ी मस्त हो गयी थी हम दोनों . लौड़ा भी मादर चोद खूब टन्नाया हुआ था . इतने में मेरे फोन की घंटी बजी .
मैंने कहा :- हेलो, कौन बोल रहा है .
वह बोली :- मैं बोल रही हूँ सारा खान ?
मैं बोली :- हां मेरी जान बहन की लौड़ी बोल ?
वह बोली :- यार तेरे से कुछ काम है . तू क्या कर रही है अभी ?
मैं बोली :- अपनी माँ चुदा रही हूँ यार ?
वह बोली :- बड़ा मज़ा आता है माँ चुदाने में ? यार क्या इत्तिफाक है, मैं भी अभी माँ चुदा कर आयी हूँ अपनी ?
मैं बोली :- तो तू भी मेरी तरह ही है भोषड़ी वाली ? माँ चुदाती रहती है
वह बोली : - मेरी सभी सहेलियां भोषड़ी की अपनी माँ चुदाती है . तभी तो मैं भी चुदाने लगी . 
मैं बोली :- क्या खुद नहीं चुदवाती हैं तेरी सहेलियां ?
वह बोली :- देख बहन चोद, बिलकुल साफ़ बात है ,बेटियां अपनी माँ चुदाती हैं और माँ अपनी बेटियां चुदाती है . 
मैं बोली :-  यार मैं भी तो ऐसा करने लगी हूँ .  
वह बोली :- हां तो ठीक है यही तो हो रहा है आजकल ? मैं अपनी माँ चुदा चुकी हूँ अब माँ मुझे चुदायेगी, बस ? मेरी बात ख़तम हुई तो मैंने देखा की अम्मी पीछे से चुदा रही है . अम्मी की बड़ी बड़ी चूंचियाँ नीचे हिल रही हैं  . मैं एक हाथ से अम्मी के चूतड और दूसरे हाथ से अंकल के चूतड सहलाने लगी . अंकल मेरी चूंचियाँ बीच बीच में दबाने लगा . आखिर में जब लण्ड ने वीर्य उगलना शुरू किया तो हम दोनों ने मिल कर खूब पिया और चाटा . मैंने महसूस किया की उस समय मस्त हो गया था अम्मी का भोषडा ?
दो दिन के बाद मैं अपनी अम्मी को लेकर अपने बॉस के पास पहुँच गयी . दरअसल एक दिन इत्तिफाक से मेरे बॉस ने मेरी अम्मी को देख लिया था .  उसका दिल अम्मी पर आ गया . वह बोला फरहा एक दिन तुम अपनी अम्मी की दिलवाओ ? मुझे तेरी अम्मी पसंद आ गयी है . बस मैंने आज का दिन पक्का किया और अम्मी को लेकर आ गयी . मैंने उसे नहीं बताया की मैं किसलिए उसे यहाँ लाई हूँ ? बॉस ने ड्रिंक्स ही सामने रख दी . मैंने अम्मी से कहा पीने में तो कोई हर्ज़ नहीं है ? वह बोली हां बिलकुल पियो मैं भी पीती हूँ . हम तीनो शराब में मस्त होने लगे . नशा छाने लगा .
मैंने कहा :- सर, आज आप बहुत चमक रहे हो ? क्या बात है ?
वह बोला :- चमक तो तुम भी रही हो फरहा और तेरी माँ भी बहुत चमक रही है .
मैं बोली :- साले भोषड़ी के तू मेरी माँ पर  नज़र रखता है ? तेरी माँ का भोषडा ? तेरी बहन की बुर,  मादर चोद ? हरामजादे , गांडू कहीं का , मैं गांड में घुसा दूँगी तेरी ऐय्यासी ?
मैंने गालियाँ इसलिए सुनायी की अम्मी और बॉस दोनों एक दूसरे से खुल जायें ?
बॉस बोला :- फरहा तू गाली देते समय सेक्सी लगती है ? \
मैंने कहा :- और मेरी माँ सेक्सी नहीं लगती ?
बॉस बोला :- जब वो गालियाँ सुनाएगी तो सेक्सी लगेगी . अच्छा बोलो आज तुम किसी ख़ास काम से आयी हो ?
मैं बोली :- हां ख़ास काम से ही आयी हूँ .
बॉस बोला :- तो  बताओ न प्लीज ? खुल कर बतायो आज क्या करने आये हो ?
मैं बोली :- आज मैं अपनी माँ चुदाने आयी हूँ .
इतने में अम्मी बोली :-  हाय अल्ला, तूने पहले क्यों नहीं बताया माँ की लौड़ी बुर चोदी भोषड़ी वाली तेरी माँ की चूत साली . पहले बताया होता तो मैं बन ठन कर आती ?
बॉस बोला :- अरे आप तो बहुत हसीन है . आपकी गालियों ने तो मेरे अन्दर एक आग पैदा कर दी है ?
मैं बोली :- तो फिर निकालो न अपना लौड़ा और चोदो मेरी माँ ?
बस मैं अपने सारे कपडे उतार कर बैठ गयी और अपने सामने ही अपनी माँ चुदाने लगी . दूसरे दिन सईद अंकल आ गये . मैंने उसे बैठाया और वेल्कोम किया . अंकल भी खुश हुए मुझसे मिलकर . फिर मैंने अम्मी को मिलवाया . अम्मी को द्देखते ही अंकल बोला :- वाओ, फरहा त्रि अम्मी तो बेहद खूबसूरत है क्या नूर है इसका ? कितनी मस्त जवानी है इसकी ? मैं बोली :- बस अंकल, अब और नहीं , बरना अम्मी तेरी गोद में बैठ जाएँगी . हम तीनो हंस पड़े ? ड्रिंक्स शुरू हो गयी और फिर मैंने कहा :-अम्मी कैसे लगे आपको मेरे अंकल ? अम्मी बोली :- हाय मैं मर जावां तूने पहले क्यों मिलवाया बहन चोद ? तू हमेशा ऐसे ही करती है मादर चोद ?
मैंने कहा :- अरी अम्मी तू जानती भी है कुछ की मेरी गांड ऐसे ही मारे जा रही है ? 
 अंकल मेरी तरफ देखने लगा .
मैंने कहा :- अंकल हम दोनों के बीच में ऐसे ही बात चीत होती है . ये प्यार की गालियाँ है . हम दोनों बिना गाली के बात करना अच्छा नहीं समझती ? गाली देने से और गाली सुनने से इनर्जी बनी रहती है .
मैं बोली :- देख अम्मी आज मैं तुझे एक राज़ की बताती हूँ . मैं १५ साल की थी तबसे मैं अंकल का लण्ड पकडती आ रही हूँ . ये दुबई में रहते है . जब भी यहाँ आते है तो मैं लण्ड पकड़ने जाती हूँ , लण्ड चाटती हूँ, लण्ड का मुठ्ठ मारती हूँ और लण्ड पीती हूँ पर चुदवाती नहीं थी . उन दिनों मेरी चूत कच्ची थी . मेरे लिए चुदाना मुमकिन नहीं था .  इसलिए अंकल चोदने के लिए किसी और के पास जाते थे .
अम्मी बोली :- तो माँ की लौड़ी मैं कहीं मर गयी थी क्या ? मेरी चूत चुदाने के काबिल नहीं थी क्या भोषड़ी वाली ? तूने मेरी बुर क्यों नहीं चुदवाई अंकल से ? तेरी गांड क्यों फट रही थी ?
मैं बोली :- अरी सुन तो पहले . तू तो बस बक बक किये जा रही है रंडियों की तरह ? 
मैंने कहा :- मैंने कई बार कहा अंकल मेरी माँ चोद लिया करो ? वो तुमसे आराम से चुदा लेगी ? पर अंकल ने कहा की मैं तेरी माँ तब चोदूंगा जब तू चुदाने वाली हो जाएगी . अब मैं चुदाने वाली हो गयी हूँ . इसलिए आज अंकल मेरी माँ चोदने आये है वह भी मेरे सामने ? अंकल मेरी माँ चोदने के साथ साथ माँ की बेटी भी चोदेंगे ? दोनों को साथ साथ चोदेंगे . 
मेरी बात सुन कर अम्मी चुप हो गयीं और मुस्कराने लगी . इतना कह कर मैंने अंकल के सारे कपडे खोल डाले और उसका लण्ड पकड़ कर हिलाने लगी . लण्ड टन टना उठा . लण्ड मैंने अम्मी को पकड़ा दिया . मैं उस तरफ गयी और अम्मी के कपडे खोल दिया . अब हम तीनो लोग नंगे हो गये . अम्मी का मुंह खुला और लण्ड अन्दर ? थोडा चूसने के बाद अम्मी बोली फरहा बड़ा स्वादिस्ट है तेरे अंकल का लण्ड ? इसका साईज तो बहुत बड़ा है ? इतना बड़ा लण्ड ज़फर का भी नहीं है ? बस न मैंने देर लगाई और न अम्मी ने . मैंने लण्ड अम्मी की बुर में घुसा दिया और अंकल दनादन्न चोदने लगे . थोड़ी देर में अम्मी ने लण्ड मेरी बुर में घुसा दिया . मैं चुदाने लगी दनादन्न ? अम्मी चित लेटी थी . मैं उसके ऊपर चित लेट गयी . अब दोनों चूत अंकल के सामने हो गयीं . अंकल कभी मेरी चूत में लण्ड पेलते कभी मेरी माँ की चूत में ? फिर अंकल हमारे मुंह की तरफ आ गये  . कभी मेरे मुंह में लण्ड घुसाते कभी अम्मी के मुंह में ?
 हम दोनों ने रात भर इसी तरह अंकल से चुदाती रही ?

=०=०=०=०=०=०=०=०=०=०=०=० समाप्त 

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